JioBook Launched And Import of Computer, Laptop To Be Affected
हाल ही में लैपटॉप, टैबलेट, ऑल इन वन पर्सनल कंप्यूटर और सर्वर के आयात को प्रतिबंधित श्रेणी में डालने का जो फैसला सरकार ने किया है, उसे देश के लगभग सभी समाचार पत्रों ने बड़ी प्रमुखता से छापा है। जागरण न्यूज़ पोर्टल पर दिनांक ०३ जुलाई, २०२३ को प्रकाशित खबर के अनुसार "सरकार ने लैपटॉप, टैबलेट, ऑल इन वन पर्सनल कंप्यूटर और सर्वर के आयात को प्रतिबंधित श्रेणी में डालने का जो फैसला किया है, उसका मकसद देश में इनके उत्पादन को बढ़ावा देना है। (नई अधिसूचना के अनुसार यह फैसला 1 नवंबर से लागू होगा) डेल, एसर, सैमसंग, एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स, एपल, लेनोवो और एचपी जैसी कंपनियां भारत में लैपटॉप बेचती हैं, लेकिन इसका बड़ा हिस्सा चीन तथा अन्य देशों से आयात किया जाता है। सरकारी आंकड़ों के अनुसार देश के कुल आयात में लैपटॉप, टैबलेट और पर्सनल कंप्यूटर का हिस्सा 1.5% के आसपास है। इनमें से लगभग आधा चीन से आयात होता है। अभी प्रमुख इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनियों में डेल और एचपी के ही भारत में मैन्युफैक्चरिंग प्लांट हैं। सरकार चाहती है कि अन्य ब्रांड भी भारत में मैन्युफैक्चरिंग शुरू करें और देश को इलेक्ट्रॉनिक्स के क्षेत्र में ग्लोबल मैन्युफैक्चरिंग हब बनाया जाए। सोमवार, 31 जुलाई 2023 को सरकार ने आईटी हार्डवेयर के लिए पीएलआई स्कीम के तहत आवेदन करने की अंतिम तारीख बढ़ाकर 30 अगस्त 2023 की थी। उसी दिन (31 जुलाई) रिलायंस ने नया ‘जियो बुक’ लांच किया, जिसकी बिक्री 5 अगस्त से शुरू होगी।
अब जब ३१ जुलाई, २०२३ रिलायंस ने नया ‘जियो बुक’ लांच कर दिया है, जिसकी बिक्री भी 5 अगस्त, २०२३ से शुरू हो जाएगी तब ये प्रश्न उठता है कि पहले जिओ बुक लांच किया गया और फिर तुरंत ही सरकार का लैपटॉप, कंप्यूटर के आयात पर अंकुश लगाने का फैसला कही सिर्फ जिओ कंपनी को लाभ दिलाने के लिए तो नहीं लिया गया। वैसे मुझे ख़ुशी इस बात की है सरकार घरेलू कम्पनी को बढ़ावा दे रही है, परन्तु घरेलु कंपनी में सिर्फ एक की कंपनी को बढ़ावा देना कही भविष्य में आम जनमानस के अहित में न हो जाये। क्यूंकि जिओ बुक के लांच होने और सरकार के इस फैसले की टाइमिंग को देखा जाये तो ऐसा प्रतीत होता है कि सरकार की मंशा कही न कही सिर्फ जिओ कंपनी को लाभ दिलाने की है। मेरा इस लेख को लिखने का तात्पर्य सिर्फ इतना सा है कि कही किसी एक कंपनी का इसमें एकाधिकार न होने पाए, अन्यथा बाद में कंपनी लोगो से मनमाने पैसे लेगी। खैर जो भी हो मुझे ख़ुशी इस बात की है घरेलू कंपनी को बढ़ावा दिया जा रहा है, यह फैसला जरूर देश हित में होगा।
0 Comments
कृपया प्रतिक्रिया दें (Feedback Please)